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लखनऊ की ऐशबाग रामलीला तकनीकी-सम्पन्नता की दृष्टि से आज न केवल देश की आधुनिकतम सर्वश्रेष्ठ ‘हाईटेक’ रामलीला है बल्कि देश की प्राचीनतम रामलीला भी है। 16वीं शताब्दी में इस ऐतिहासिक रामलीला की शुरुवात परम् पूज्य गोस्वामी तुलसी दास जी ने स्वयं की थी। गोस्वामी जी ने इसी स्थान पर बरसात के दिनों के चार माह यानी चौमासा का प्रवास किया था। इस दौरान उन्होंने दो महत्वपूर्ण कार्य किये। पहला आम जन तक राम के चरित्र को पंहुचाने के उद्देश्य से अभिनय के माध्यम से रामकथा का प्रसार अर्थात रामलीला का शुभारंभ, और दूसरा विनय पत्रिका की रचना।
ऐशबाग रामलीला कमेटी ने भी इस वर्ष यानी 2023 में दो महत्वपूर्ण कार्य किये हैं। पहला स्थायी रूप से यहां तुलसी मंच का पक्का निर्माण और दूसरा इस नवनिर्मित तुलसी मंच से ‘तुलसी गौरव सम्मान’ प्रदान किये जाने की परंपरा। ऐतिहासिक ऐशबाग रामलीला द्वारा रामोत्सव 2023 के अवसर पर देश के ख्यातिलब्ध योगाचार्य, आयुर्वेदविद् , पर्यावरण प्रेमी, समाज सेवी श्री समर्थ अरविंद योगी जी को पहला ‘तुलसी गौरव सम्मान’ प्राप्त करने का गौरव प्राप्त हुआ।
वेदांत और पतंजलि योग सूत्र के विशेषज्ञ योगी अरविंद जी ने ऋषिकेश-हिमालय की सुरम्य पहाड़ियों में रहते अष्टांग योग और कुंडलिनी योग में गहन साधना की है। अपने शोध से वेद और आयुर्वेद में नये आयाम तलाशने वाले आध्यत्मिक प्रणेता योगी अरविंद जी बरसों-बरस नंगे पाँव देश-विदेश में हज़ारों किलोमीटर की पदयात्रा कर चुके हैं।
योगी अरविंद जी का दर्शन एवं मान्यता है कि समाज मे समरसता, बदलाव और अहिंसा का सूत्रपात अष्टांग योग के सिद्धांतो के द्वारा ही सम्भव है। भारतीय शास्त्रीय संगीत में विशेष अभिरुचि रखने वाले पर्यावरण-प्रेमी योगी अरविंद जी वर्तमान में देश भर में एक करोड़ आयुर्वेदिक वृक्ष लगाने के बड़े मिशन में संलग्न हैं।
महाराष्ट्र के भवानी योग क्षेत्र, गुजरात, राजस्थान, मध्यप्रदेश, उत्तराखंड और कर्नाटक समेत अपने देश के कुल 12 राज्यों के अलावा वो ब्राज़ील, इंडोनेशिया और दुबई में अब तक लाखों पौधे रोप चुके हैं। योगी अरविंद जी न केवल वृक्षारोपण करते या करवाते हैं बल्कि उनके फलने-फूलने तक उनकी देखभाल की भी समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करते हैं। विशेष बात यह कि देश हो या विदेश आयुर्वेदिक वृक्ष लगाने के बड़े मिशन में जुटे योगी जी केवल भारतीय प्रजातियों के ही वृक्ष लगाते हैं। उनके इस भागीरथ अभियान के महत्व को सार्वजनिक पटल पर पहचान और प्रसार देने के उद्देश्य से ऐशबाग रामलीला कमेटी ने उन्हें 2023 के ‘तुलसी गौरव सम्मान’ से विभूषित किया।
ऐतिहासिक ऐशबाग रामलीला मैदान में अपार जनसमूह की उपस्थिति में श्री राम-नाम के जयघोष के बीच, नवनिर्मित तुलसी मंच पर उन्हें यह सम्मान राजस्थान के राज्यपाल माननीय श्री कलराज मिश्र के कर कमलों द्वारा प्रदान किया गया।